गुरुवार, 27 अक्टूबर 2011

वधशाला में बछड़े का यूं गऊ------

गो-वत्स वार्ता 
वधशाला में बछड़े का यूं गऊ से बयान है।
मुझको बतादो माँ ये किस का मकान है।।टेक।।


लाया था पकडकर हमको ये टेढ़ी टोपीवाला कौन |
कमरे में बंद करके ठोक गया ताला कौन |
अस्थियों का ढेर है और दुर्गन्ध की खान है||१||
गोवध-शाला 
माता रोकर यूं बोली रे बेटा यो जालिम कसाई है।
कल को प्रातःकाल तेरी माँ की मौत आई है।
इस हत्थे ने ले ली रे बेटा अरबों की जान है।।1।।
बछड़ा रोकर यूं बोला री माँ मैं किसका दूध पीऊँगा।
दूध और तेरे बिना कैसे मैं जीऊँगा।
मनमोहन से कहदो जाकर जो मन्त्रीप्रधान है।।2।।

ऐसे काम तो रे बेटा कोई शूरवीर करे।
या तो कोई ब्रह्मचारी या भीष्म सा फकीर।
हरियाणा में रहता जिसका घरोंडा स्थान है।।3।।

रचना- स्व. स्वामी भीष्म जी

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